रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने मंगलवार को कहा कि सरकार तिब्बत में ब्रह्मपुत्र नदी पर चीन के प्रस्तावित विशाल बांध को लेकर पूरी तरह सतर्क है। उन्होंने आश्वासन दिया कि भारत अपने हितों की रक्षा के लिए निगरानी जारी रखेगा और आवश्यक कदम उठाएगा।
भारत ने चीन से आग्रह किया है कि ब्रह्मपुत्र के ऊपरी इलाकों में होने वाली गतिविधियों से निचले बहाव क्षेत्र के हितों को नुकसान न पहुंचे।
राजनाथ सिंह ने एक कार्यक्रम में कहा कि अब जब भारत बोलता है, तो दुनिया उसे गंभीरता से सुनती है। उन्होंने जोर दिया कि भारतीय अर्थव्यवस्था तेजी से प्रगति कर रही है और जल्द ही दुनिया की शीर्ष तीन अर्थव्यवस्थाओं में शामिल होगी।
ओवैसी का हमला – क्या गलवान में गश्त बहाल होगी?
AIMIM प्रमुख असदुद्दीन ओवैसी ने चीन नीति को लेकर केंद्र सरकार पर निशाना साधते हुए सवाल किया कि क्या गलवान और अन्य क्षेत्रों में गश्त के अधिकार बहाल करने की कोई योजना है। उन्होंने दावा किया कि भारत के विरोध और आग्रह का चीन पर कोई प्रभाव नहीं पड़ रहा है।
ओवैसी ने सोशल मीडिया पर कहा कि भारत की आंतरिक और बाहरी सुरक्षा कुप्रबंधन का शिकार है, खासतौर पर मणिपुर और पूर्वोत्तर राज्यों में स्थिति गंभीर है। उन्होंने आरोप लगाया कि सशस्त्र बलों के राजनीतिकरण के प्रयासों से बाह्य सुरक्षा को भी खतरा हो सकता है।
भारत और चीन के बीच बढ़ते तनाव के बीच यह मुद्दा एक बार फिर चर्चा का केंद्र
बन गया है।