ब्रेन स्ट्रोक की बढ़ती चिंता: युवाओं के लिए एक खतरनाक खतरा

भारत में ब्रेन स्ट्रोक के मामले तेजी से बढ़ते जा रहे हैं, और यह एक गंभीर स्वास्थ्य संकट का संकेत है। विश्व स्वास्थ्य संगठन की हालिया रिपोर्ट के अनुसार, पिछले 10 वर्षों में ब्रेन स्ट्रोक के मामलों में 20 फीसदी की बढ़ोतरी हुई है। चिंता की बात यह है कि अब यह समस्या युवाओं में भी देखने को मिल रही है, जिसे “यंग-ऑनसेट स्ट्रोक” कहा जाता है। 45 वर्ष से कम आयु के व्यक्तियों में यह समस्या बढ़ रही है, और सभी स्ट्रोक मामलों में लगभग 10 से 15% युवा-शुरुआत स्ट्रोक के होते हैं।

 खराब जीवनशैली का बड़ा प्रभाव

युवाओं में बढ़ते स्ट्रोक के मामलों का एक प्रमुख कारण खराब जीवनशैली है, जो हाई ब्लड प्रेशर (बीपी) और डायबिटीज जैसी बीमारियों का कारण बन रही है। धूम्रपान, अस्वास्थ्यकर आहार और काम से संबंधित मानसिक तनाव भी इस समस्या को बढ़ा रहे हैं। लेडी हार्डिंग मेडिकल कॉलेज के मेडिसिन विभाग में प्रोफेसर डॉ. जुगल किशोर का कहना है कि युवाओं में स्ट्रोक का एक अन्य महत्वपूर्ण कारण क्लॉटिंग और एंटी क्लॉटिंग मैकेनिज्म की समस्याएं हैं, जिससे हाइपरकोएग्युलेबल स्थिति उत्पन्न होती है। इस स्थिति में खून में थक्का बनने लगता है, जो दिमाग की नसों में जाकर स्ट्रोक का कारण बनता है।

स्ट्रोक है जानलेवा

मणिपाल अस्पताल के न्यूरोलॉजी विभाग के डॉ. संतोष एनएस के अनुसार, अगर स्ट्रोक का समय पर इलाज नहीं किया गया तो यह जानलेवा बन सकता है। स्ट्रोक के लक्षणों में आंखों से धुंधला दिखना, चक्कर आना और सिर में तेज दर्द शामिल हैं। इन लक्षणों को नजरअंदाज करना गंभीर हो सकता है। अगर आपको इनमें से कोई भी लक्षण महसूस हो, तो तुरंत अस्पताल जाएं। खासकर युवाओं को इस स्थिति में लापरवाही नहीं बरतनी चाहिए। सही समय पर इलाज कराना ब्रेन स्ट्रोक की समस्या को काबू में करने में मदद कर सकता है।

 स्ट्रोक से बचाव के उपाय

ब्रेन स्ट्रोक को रोकने के लिए डायबिटीज और हाई बीपी को नियंत्रित करना अत्यंत आवश्यक है। नियमित रूप से शुगर लेवल और बीपी की जांच कराते रहना चाहिए। अगर आपको सिर में दर्द की समस्या रहती है, तो इसे नजरअंदाज नहीं करना चाहिए। सिर में होने वाला दर्द कई बार स्ट्रोक का शुरुआती संकेत भी हो सकता है।

इस बढ़ती समस्या के मद्देनजर, युवाओं को अपने स्वास्थ्य के प्रति जागरूक रहना चाहिए। स्वस्थ जीवनशैली अपनाना, नियमित जांच कराना और लक्षणों पर ध्यान देना अत्यंत महत्वपूर्ण है। ब्रेन स्ट्रोक एक जानलेवा समस्या हो सकती है, लेकिन सही जानकारी और समय पर उपचार से इसे रोका जा सकता है। यह वक्त है जागरूकता फैलाने और जीवनशैली में सुधार करने का, ताकि हम इस गंभीर स्वास्थ्य संकट से निपट सकें।

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